मैं मौके पर मौजूद ही नहीं था,मारपीट के आरोप निराधार हैं - डा० मनीष त्रिपाठी
Video में दिखा एक्सीडेंट, बाद में मौके पर आए चिकित्सक ....
एसपी सिटी ने कहा जांच कर नियमानुसार की जाएगी कार्रवाई
आजमगढ़: गुरुवार की रात शहर कोतवाली में प्रार्थना पत्र देते हुए अंकुर सिंह पुत्र रमाकर सिंह निवासी गांधी नगर कालोनी लछिरामपुर ने आरोप लगाया कि वह बीती शाम अपनी गाड़ी से अपनी दुकान लछिरामपुर की तरफ से जा रहा था रास्ते में जाम लगने के कारण उसकी गाड़ी जाम में फंस गयी। यह जाम मनीष त्रिपाठी के अस्पताल के सामने लगा जो उनकी अव्यवस्थित पार्किंग के चलते लगा था। इस दौरान अस्पताल का गार्ड आकर गाड़ी पर ठोकने लगा, जब वह गाड़ी से बाहर निकला तो मनीष त्रिपार्ठी के गार्ड द्वारा बदतमीजी की जाने लगी। जब मेरे द्वारा इसका विरोध किया गया तो अस्पताल के 10-12 की संख्या में कर्मचारी आकर मुझे घसीट कर सीसीटीवी कैमरे के दायरे से बाहर निकालकर मारने लगे, जब मैं अपनी जान बचाकर भागने लगा तो वे लोग पुनः मुझे दौड़ा-दौड़ाकर मरने लगे। मैं वहां से जान बचाकर भागा तो मनीष त्रिपाठी और उनके कर्मचारियों ने गाली देते हुए धमकी दी अगर यहां दिखा तो जान से मार देंगे। शहर कोतवाली पुलिस ने पीड़ित की तहरीर पर डा0 मनीष त्रिपाठी सहित 10-12 अज्ञात लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर मामले की जांच शुरू कर दी। इस क्रम में डा0 मनीष त्रिपाठी ने घटनाक्रम का सीसीटीवी वीडियो पुलिस और मीडिया के सामने रखते हुए बताया कि मैं डाक्टर हूं, कोई गुंडागर्दी या मारपीट मुझे कहीं से शोभा नही देती, मेरे ऊपर लगाये गये आरोप निराधार और बेबुनियाद हैं। अस्पताल के सामने कार द्वारा स्कूटी सवार को धक्का मारने की दुर्घटना होने के बाद मेरे स्टाफ द्वारा सहयोगात्मक रवैया अपनाते हुए मामले हल करने में मदद की जा रही थी जो अस्पताल के लगे सीसीटीवी कैमरे में रिकार्ड है। अभी यह सब चल ही रहा था की एक एंबुलेंस में इमरजेंसी मरीज आने पर अस्पताल के सामने से लगी भीड़ को हटाने की बात मेरे भाई दीपक ने कही तो उक्त अंकुर सिंह और साथियों द्वारा उसके साथ भी मारपीट की गई। मैं घटना के समय वहां था ही नही और फोन से झगड़े की सूचना मिलते ही मैंने ही पुलिस को सूचित किया और मौके पर जा कर हाथ जोड़ बीच बचाव किया। अंकुर सिंह और उनके साथियों से विनती कर विवाद को समाप्त करने की बात कही। अंकुर सिंह और उनके साथियों द्वारा मेरे भाई को पिटाई में उसके एक हाथ की अंगुली भी टूट गयी है। मैंने शहर कोतवाली में घटना के बावत तहरीर दी और मांग किया कि मेरे भाई का मेडिकल करवा दिया जाय, लेकिन रात में मेरे भाई का मेडिकल नहीं करवाया गया जबकि दूसरे पक्ष का मेडिकल कराया गया। मेरी पुलिस प्रशासन से मांग है कि मामले में निष्पक्ष जांच करते हुए दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की जाय। आज सुबह मेरे द्वारा पुलिस और मीडिया को पूरे घटनाक्रम का वीडियो दिखाया गया। जिसमें दुर्घटना और बहस के काफी देर बाद मेरा वहां आना दर्ज है। इस मामले में एसपी सिटी शैलेंद्र लाल बताया कि वादी अंकुर सिंह निवासी लछीरामपुर थाना कोतवाली की तहरीर पर डॉ मनीष त्रिपाठी व 10 12 अज्ञात लोगों के खिलाफ शहर कोतवाली में मुकदमा अपराध संख्या 207 बटा 24 धारा 34, 323, 504, 506 का दर्ज किया गया है। शीघ्र ही जांच कर नियमानुसार कार्रवाई की जाएगी। उन्होंने कहा कि दूसरे पक्ष के हेमंत पांडे के तरफ से भी अंकुर सिंह के खिलाफ तहरीर दी गई है जिसमें कुछ लोगों को मेडिकल के लिए भेजा गया है मेडिकल के बाद आगे की कार्रवाई की जाएगी।
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