बीएसएनएल के टावरों और ऑप्टिकल फाइबर को निजी हाथों में सौंपने का विरोध किया
4G सेवा शुरू करने में अत्यधिक विलंब होने की स्थिति पर आक्रोश जताया
आजमगढ़: गुरुवार को भोजन अवकाश में बीएसएनएल कर्मियों नें ब्लेक बैज पहनकर प्रदर्शन किया । एयूएबी के आह्वान पर आजमगढ़ के जिला संयोजक एवं बीएसएनएल ईयू के जिला सचिव आनंद कुमार सिंह ने प्रदर्शन का नेतृत्व किया। उन्होंने बताया कि सरकार और बीएसएनएल प्रबंधन राष्ट्रीय मुद्रीकरण पाइपलाइन के तहत बीएसएनएल के 14,917 मोबाइल टावरों को निजी हाथों में सौंपने के लिए तेजी से आगे बढ़ रहे हैं । सरकार के इस फैसले को लागू करने के लिए सीएमडी, बीएसएनएल तेजी से कार्रवाई कर रहे है। बजट में सरकार ने स्पष्ट रूप से कहा है कि, वह बीएसएनएल के मोबाइल टावरों और ऑप्टिक फाइबर (ओएफसी) को निजी हाथों को सौंपने के माध्यम से 40,000 करोड़ रुपये की कमाई करेगी । यदि राष्ट्रीय मुद्रीकरण पाइपलाइन के तहत बीएसएनएल के टावरों और ओएफसी को निजी हाथों को सौंप दिया जाता है तो उसके बाद बीएसएनएल को अपने स्वयं के टावरों और ओएफसी का उपयोग करने के लिए निजी कंपनी को किराए का भुगतान करना होगा। यह बताने की जरूरत नहीं है कि इससे बीएसएनएल का अंत हो जाएगा । ऐसे समय में जब निजी कंपनीयां अपनी 5G सेवा शुरू करने की तैयारी कर रही हैं बीएसएनएल की 4G सेवा शुरू करना कहीं नजर नहीं आ रहा है। टीसीएस ने अब तक अपने प्रूफ ऑफ कॉन्सेप्ट (पीओसी) को पूरा नहीं किया है। टीसीएस के लिए अपने पीओसी को पूरा करने के लिए निर्धारित मूल समय सीमा 30 नवंबर, 2021 थी। इस समय सीमा को कई बार बढ़ाया जा चुका है। हालांकि टीसीएस आज तक पीओसी को पूरा नहीं कर पाई है। इसका तात्पर्य यह है कि टीसीएस यह साबित करने में सक्षम नहीं है कि उसके पास बीएसएनएल को 4G उपकरणो की आपूर्ति करने की प्रौद्योगिकी है। यह ध्यान दिया जाना चाहिए कि टीसीएस ने बीएसएनएल को 1 लाख 4G बीटीएस की आपूर्ति करने की प्रतिबद्धता व्यक्त की है। हालांकि टीसीएस ऐसा कैसे और कब करेगी यह किसी को नहीं पता। चूंकि,बीएसएनएल अपनी 4G सेवा शुरू करने में सक्षम नहीं है, इसलिए उसने अपने ग्राहकों को खोना शुरू कर दिया है। अकेले मई-2022 में 5.3 लाख ग्राहकों को खो दिया है। बीएसएनएल का रिवाइवल पैकेज सिर्फ कागजों पर ही रह गया है। कंपनी की वित्तीय स्थिति खराब हो रही है और यह पूर्व-वीआरएस स्थिति में तेजी से लौट रही है । प्रर्दशन में कर्मचारियों अधिकारियों ने बढ़ चढ़ कर हिस्सा लिया एवं सरकार के खिलाफ जम कर नारेबाजी की। अवनीश कुमार सिंह, गुलाब राय , प्रशांत यादव, माता प्रसाद यादव, अभिनव द्विवेदी, दुर्गेश यादव, अविनाश मौर्य, शिव शंकर, गुलाब मौर्या, वैभव सिंह, सुनील कुमार गुप्ता, वैष्णो सिंह, अशोक यादव, संतोष कुमार सिंह, किस्मती मौर्या, सुनील, वरुण गुप्ता, मुनीलाल यादव, धर्मेंद्र सिंह, अजय ,संदीप कुमार , रामजीत , अवनीश सिंह इत्यादि लोग शामिल थे।
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